Monday, January 9, 2012

सामान्य सी गतिविधियाँ

 
बरसों से
हर दिन
सूर्य किरण के साथ
मंदिर की सीढियां धोने का क्रम
एक दिन
बंद करके उसने फिर जाना
 
यह क्रिया
 
बाल्टी उठाना
कुएं से पानी निकलना
मंदिर की सीढ़ियों तक ले जाना
पानी छिड़कना
मंदिर से आती घंटी की ध्वनि से साथ
सामने 
बरगद के पेड़ पर कबूतरों की हलचल देखना
किसी किसी को
'राम राम' कह देना
 
ये सब
सहज
सामान्य सी गतिविधियाँ
बरसों से
सुनहरा बनाती रही हैं
उसका सारा दिन
 
 
अशोक व्यास
न्यूयार्क, अमेरिका
९ जनवरी २०१२                

2 comments:

प्रवीण पाण्डेय said...

आत्मीयता में पगी क्रियायें।

Unknown said...

behtareen likha

सुंदर मौन की गाथा

   है कुछ बात दिखती नहीं जो  पर करती है असर  ऐसी की जो दीखता है  इसी से होता मुखर  है कुछ बात जिसे बनाने  बैठता दिन -...